उद्देश्य
- हमारा उद्देश्य संस्कृत के क्षेत्र में आधुनिकीकरण लाना हैं । संस्कृत पर समाज के सभी लोगों का अधिकार हैं । संस्कृत में केवल धार्मिक साहित्य ही नहीं है, बल्कि कला, विज्ञान, दर्शन, जीवन, आदि भी है और हम इन विषयों को फिर से समाज में लोकप्रिय बनाना चाहते हैं ।
- हम वेद-वेदांग, भारतीय संस्कृति, इतिहास, योग, ध्यान और संस्कृत के माध्यम से अच्छे व्यवहार को शामिल करके भारतीय मूल्यों या स्वदेशी पर आधारित शिक्षा प्रदान करना चाहते हैं ताकि छात्र अपने जीवन में सफलता प्राप्त कर सकें ।
- हमारा उद्देश्य परिवार, समाज, राष्ट्र और विश्व को मानसिक, बौद्धिक, आध्यात्मिक और सामाजिक-स्तर पर विकसित करना हैं ।
- यह कार्य वर्तमान समय की शिक्षा को ध्यान में रखते हुए समाज में मानवता की कमी, संस्कृति के अभाव, सत्यनिष्ठा की कमी जैसे कई मुद्दों के परिप्रेक्ष्य में मानव को मानव रखने की आवश्यकता के रूप में शुरू किया गया था ।
- भारतीय संस्कृति का इतिहास हमें बहुत कुछ सिखाता है लेकिन इसके शुद्ध और सरल तरीके छात्रों और समाज तक नहीं पहुँचते हैं । अगर आप किसी संस्कृति को समझना चाहते हैं, तो आपको उसके इतिहास के ग्रंथों को समझना होगा, जो कार्य हम करेंगे ।
- संस्कृत शिक्षा को लागू करने के अलावा, देश के विकास के लिए जाति, पंथ, वर्ग और धर्म की सीमाओं से परे अध्यात्मवाद, राष्ट्रवाद और न्याय के मूल्यों के आधार पर एक समान समाज की स्थापना करना ।